इक दीया हाथों में लेकर
द्वार द्वार हम घूमे
वह गरीब कि कुटिया थी
जहां नहीं था पेटभर खाना
दिनभर के श्रम से जुटा था
पावभर चावल का निवाला
मिल बाँट कर खा पी कर
तत्क्षण वे संतुष्ट हुए
श्रम बूँद जब पास है उनके
कल की कल देखी जायेगी
स्नेह-दीप से रौशन घर को
दीये की नहीं जरुरत थी
इक दीया हाथों में लेकर
द्वार द्वार हम घूमे
वह ज्ञान का मंदिर था
जहां नहीं था कोई प्रपंच
न तो कोई अपराधी था
न कोई बनता था सरपंच
अंतरात्मा बड़ी सजग थी
नैतिकता का राज था
अमीर गरीब के भेद से दूर
विद्या ही वरदान था
ज्ञान-दीप से जगमग घर को
दीये की नहीं जरुरत थी
इक दीया हाथों में लेकर
द्वार द्वार हम घूमे
वह शहीद कि देहरी थी
जहां हसरतें दबी पड़ी थीं
आँखों में भरकर सन्नाटा
होठों पर सिसकी सुबक रही थी
चिरागे-कुल वतन को देकर
गहन तिमिर में डूबा घर
पर न कहीं कोई शिकवा थी
न कहीं दिखा था उपालम्भ
त्याग-दीप से रौशन घर को
दीये की नहीं जरुरत थी
इक दीया हाथों में लेकर
द्वार द्वार हम घूमे
वह वृध्दों का आश्रम था
जहां बिखरे
थे टूटे सपने
पोपल मुंह खांस खांस कर
ढूंढ रहे थे कोई अपने
जिन पांवों को शक्ति दी थी
जाने किन राहों पर मुड़ गये
जिन पंखों को विस्तार दिया
आज़ाद परिंदे बन उड़ गए
उन अशक्त बुझी नजरों को
दीयों की सख्त जरुरत थी
इक दीया हाथों में लेकर
उस द्वार पर हम रख दिए !!!!
.....................................ऋता
दीपावली कि हार्दिक शुभकामनायें !!
दीपावली कि हार्दिक शुभकामनायें !!
दिए द्वार पर हम जलाते चलें
जवाब देंहटाएंतं तिमर धरा से हम भागते चलें
दीपोत्सव की हार्दिक माँगल कामनाओं के साथ
बहुत सुन्दर प्रस्तुति...!
जवाब देंहटाएंआपकी इस प्रविष्टि् की चर्चा कल शनिवार (02-11-2013) "दीवाली के दीप जले" चर्चामंच : चर्चा अंक - 1417” पर होगी.
सूचना देने का उद्देश्य है कि यदि किसी रचनाकार की प्रविष्टि का लिंक किसी स्थान पर लगाया जाये तो उसकी सूचना देना व्यवस्थापक का नैतिक कर्तव्य होता है.
सादर...!
खुबसूरत अभिवयक्ति...... शुभ दीपावली
जवाब देंहटाएंसुन्दर रचना.
जवाब देंहटाएंसार्थक प्रस्तुति |
जवाब देंहटाएंआपको सपरिवार दिवाली की शुभकामनाएं |
सुन्दर प्रस्तुति………
जवाब देंहटाएंकाश
जला पाती एक दीप ऐसा
जो सबका विवेक हो जाता रौशन
और
सार्थकता पा जाता दीपोत्सव
दीपपर्व सभी के लिये मंगलमय हो ……
बहुत सुन्दर प्रस्तुति।
जवाब देंहटाएं--
आपको और आपके पूरे परिवार को दीपावली पर्व की हार्दिक शुभकामनाएँ।
स्वस्थ रहो।
प्रसन्न रहो हमेशा।
बहुत सुन्दर प्रस्तुति।
जवाब देंहटाएं--
आपको और आपके पूरे परिवार को दीपावली पर्व की हार्दिक शुभकामनाएँ।
स्वस्थ रहो।
प्रसन्न रहो हमेशा।
सुंदर भावों वाली कविता।
जवाब देंहटाएंदिवाली तो तभी सार्थक है जब ऐसा हो ... संवेदनशील रचना ...
जवाब देंहटाएंदीपावली के पावन पर्व की बधाई ओर शुभकामनायें ...
बहुत सुंदर .....शुभकामनायें आपको भी
जवाब देंहटाएं